Sada Rahay Ga Hussain Hussain Lyrics Farhan Ali Waris

Sada Rahay Ga Hussain Hussain Lyrics Farhan Ali Waris

 

फ़ना हो जाएगी दुनिया लेकिन खुदा का है वादा
जब तक ये अज़ां रहेगी ज़हरा की दुआ रहेगी

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी, अज़ा रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

ज़िन्दाबाद ज़िन्दाबाद शाह की अज़ां जि़दाबाद
अज़ां रहेगी, अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन

हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

शब्बीर का ग़म रहेगा सदा
नस्लों को विर्से में दे दी अज़ां
कल हम रहें ना रहें क्या पता
ज़िक्रे अज़ां, आहो बुका
ये सोच के करना सदा

न तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी सदा रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

हम हैं दुआ ए सय्यिदा, हम हैं फ़िदा ए हुसैन
ज़िन्दाबाद ज़िन्दाबाद शाह की अज़ां ज़िदाबाद
अज़ा रहेगी अज़ा रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

निकले घरों से सभी नोहा-गर
पैदल जुलूसों में करने सफ़र
न फ़िक्रे मौसम न दुश्मन का डर
ऊंचे अलम बढ़ते क़दम
रोके हमें, किस में है दम

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

सीने में दिल, दिल में है धड़कन-धड़कन में हुसैन
आंखों में अश्कों का है सावन-सावन में हुसैन
मांगा है अल्लाह से जीवन-जीवन में हुसैन
कर्बोबला है मेरा मसकन-मसकन में हुसैन

 

तुम भी करो हम भी करें मातम ए हुसैन
तुम भी पढ़ो हम भी पढ़ें मजलिस ए हुसैन
तुम भी बनो हम भी बनें ज़ाइर ए हुसैन
तुम भी चलो हम भी चलें मक़तल ए हुसैन

 

तुम भी उठाओ अलम, हम भी उठाएं अलम
तुम भी बढ़ाओ क़दम, हम भी बढ़ाएं क़दम
तुम भी ये खाओ क़सम, हम भी ये खाएं क़सम
तुम भी मनाओगे ग़म, हम भी मनाएंगे ग़म

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी, अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

रस्म ए वफ़ा यूं निभाते हैं हम
बच्चों को सक़्क़ा बनाते हैं हम
तहज़ीब ए मजलिस सिखाते हैं हम
नोहा पढ़ो मातम करो
हमने किया तुम भी करो

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी, अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

जिक्रे अज़ां को और बढ़ाओ
नस्लों को यूं परवान चढ़ाओ
मातमी और नमाज़ी बनाओ
जो किया तुमने इन्हें भी सिखाओ
गुज़रें जहां से जुलूस अज़ां के
राहो में उनके सबीलें लगाओ

 

ये हैं सबीलें, ये प्यासों का मातम
राहों में है, ये असीरों का मातम
ये खून का पुरसा ये ज़ख्मों का मातम
शोलों पे आबिद के छालों का मातम
ज़िक्र ए सकीना तमाचों का मातम
होता रहेगा शहीदों का मातम

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी, अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

हर सांस पे क़र्ज़ है शाह के ग़म
जितना भी मातम करें वोह है कम
फ़र्श ए अज़ां पर निकल जाए दम
जितनी बची है ज़िन्दगी करते रहें ये नौकरी

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी, अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

मौत के सैलाब में हर खुश्क ओ तर बह जाएगा
हां मगर नाम ए हुसैन इब्ने अली रह जाएगा

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी, अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

बीबी की मेहनत ये रंग लाई है
मातम का हर कोई शैदाई है
अहले अज़ां ने क़सम खाई है
ये दिल है क्या ये जां है क्या
शब्बीर पर सब कुछ फ़िदा

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी, अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

हम ना कभी भूलेंगे ये ग़म – मौला की क़सम
नोहा पढ़ेंगे यूं ही हर दम – मौला की क़सम
रुकने नहीं देंगे ये मातम – मौला की क़सम
झुकने नहीं देंगे ये परचम – मौला की क़सम

 

अहले अज़ां आओ मातम करें हम
महव ए बुका आओ मातम करें हम
सादात का आओ मातम करें हम
ग़म है बड़ा आओ मातम करें हम
गूंजे सदा आओ मातम करें हम
बस हर जगह आओ मातम करें हम

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी, अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

ये तेरा मातम ये नोहे रहेंगे
फरहान ओ मज़हर ये कहते रहेंगे
नस्लों को पैग़ाम देते रहेंगे
यूं ही चराग़े अज़ां भी जलेंगे
ना ये क़दम रुक सके, ना रुकेंगे
मजलिस की जानिब ये बढ़ते रहेंगे

ना तुम रहोगे ना हम रहेंगे
सुन ले ये सारा ज़माना
अज़ां रहेगी, अज़ां रहेगी
सदा रहेगा हुसैन हुसैन
हुसैन हुसैन मौला हुसैन हुसैन

 

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