जानान-ए-मुस्तफ़ा को हमारा सलाम हो
अब्बास-ए-नामदार हैं ज़ख़्मों से चूर चूर
उस पैकर-ए-रिज़ा को हमारा सलाम हो
सुल्तान-ए-कर्बला को हमारा सलाम हो
जानान-ए-मुस्तफ़ा को हमारा सलाम हो
अकबर से नौजवान भी रन में हुए शहीद
हम-शक्ल-ए-मुस्तफ़ा को हमारा सलाम हो
सुल्तान-ए-कर्बला को हमारा सलाम हो
जानान-ए-मुस्तफ़ा को हमारा सलाम हो
भाई, भतीजे, भांजे सब हो गए निसार
हर लाल-ए-बे-बहा को हमारा सलाम हो
सुल्तान-ए-कर्बला को हमारा सलाम हो
जानान-ए-मुस्तफ़ा को हमारा सलाम हो
असग़र की नन्हीं जान पे लाखों दुरूद हो
मज़्लूम-ओ-बे-ख़ता को हमारा सलाम हो
सुल्तान-ए-कर्बला को हमारा सलाम हो
जानान-ए-मुस्तफ़ा को हमारा सलाम हो
हो कर शहीद क़ौम की कश्ती तिरा गए
उम्मत के नाख़ुदा को हमारा सलाम हो
सुल्तान-ए-कर्बला को हमारा सलाम हो
जानान-ए-मुस्तफ़ा को हमारा सलाम हो
नासिर विला-ए-शाह में कहता है बार बार
सुल्तान-ए-कर्बला को हमारा सलाम हो
सुल्तान-ए-कर्बला को हमारा सलाम हो
जानान-ए-मुस्तफ़ा को हमारा सलाम हो
नातख्वां:
ओवैस रज़ा क़ादरी