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एक ख़्वाब सुणावां पुरनूर फ़िज़ावां

एक ख़्वाब सुणावां पुरनूर फ़िज़ावां

 

एक ख़्वाब सुणावां, पुरनूर फ़िज़ावां
आक़ा दा मुहल्ला, जिवें अर्शे मुअ़ल्ला
कदी आण फ़रिश्ते, कदी जाण फ़रिश्ते
साढ़े अज़लों जुड़ गए आक़ा नाल रिश्ते
ओ करमां वाला वेड़ा पलकां नाल चुम्दा जावां
एक ख़्वाब सुणावां, पुरनूर फ़िज़ावां

या नबी सलाम अलयक
या रसूल सलाम अलयक

रब ले गया मैनूं जदो शेहर मदीने
एक हाजी लाया मैनूं कुटके सीने
कदी पीवां ज़मज़म, कदी पड़ां नमाज़ां
मेरी पोंच जीथो तक मैं देयां नियाज़ां
रब सोहणे पल विच सुणिया मेरे दिल दियां सारी दुआवां
एक ख़्वाब सुणावां, पुरनूर फ़िज़ावां

या नबी सलाम अलयक
या रसूल सलाम अलयक

आक़ा दा वेड़ा पलकां दी धारी
दिल करे गुज़ारा ओथे उमर में सारी
क़ाबे दे चक्कर मैं लय पज पज के
मैं हज्रे-अस्वद चुम्मेया रज रज के
मेरे सिर ते रब ने कीतियां रेहमत दियाँ ठंडियां छावां
एक ख़्वाब सुणावां, पुरनूर फ़िज़ावां

या नबी सलाम अलयक
या रसूल सलाम अलयक

ओह सोणीयां गलियां विच रेहमत रब दी
मेरा आक़ा सोहणा गल सुणदा सब दी
मेरे अमल दी चद्दर उत्ते दाग हज़ारां
किस माण ते वाजां तेरे करम नूं मारां
केड़े मुँह नाल बख्शीश मंगा मेनू आंदियां बहुत हयावां
एक ख़्वाब सुणावां, पुरनूर फ़िज़ावां

या नबी सलाम अलयक
या रसूल सलाम अलयक

चुप कर के बयगया रोज़े दे नेड़े
होया नूर दा चानन मेरे दिल दे वेड़े
फिर सुफना टुटेया ओह कच्ची कुल्ली
मैं रो पया सादिक़ मेरी अख़ क्यूँ खुल्ली
फिर आक़ा सतयां दर ते होइयां दिल दियां पूरियां चाहवां
एक ख़्वाब सुणावां, पुरनूर फ़िज़ावां

या नबी सलाम अलयक
या रसूल सलाम अलयक

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