Banke Rehmat Ka Ek Jhoka Saanso Ko Mehka Naat Lyrics

Banke Rehmat Ka Ek Jhoka Saanso Ko Mehka Naat Lyrics

 

 

बन के रहमत का इक झोंका साँसों को महका,
सरवरे आलम के रौजे कि खुशबू लेकर आ,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ

आजा इश्के नबी कि चिरई दूर से न तड़पा,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ

कहना सलामे उम्मत पहले फिर सारा दुखड़ा कहना,
दर्दे उदासी मल के परो पर आका को दिखला देना,
उड़ता हुआ तू हिन्द नगर से शहरे मदीना जा,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ,

गम से हूँ रंजूर बहुत मैं तैबा से हूँ दूर बहुत,
कहना कमली वाले से मैं आका हूँ मजबूर बहुत,
दुखियारी उम्मत का संदेशा तैबा लेकर जा,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ,

रोज फ़रिश्ते उनके दर पर बहरे सलामी आते हैं,
जिनके गुलामों कि ठोखर से मुर्दे भी जी जाते हैं,
उनसे कहना लेके सुनेहरी जाली का बोसा,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ,

दर-दर से ठुकराए हैं जां कि बाजी लगाए हैं,
आँख दिखाती है ये दुनिया डसते ज़ुल्म के साये हैं,
दहशतगर्द ज़माना कहके करता है रुसवा,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ,

गौस के दर का कह देना एक मंगता रो-रो कहता है,
कहना घुट-घुट के ख्वाजा के भारत मे ये रहता है,
नाम है अकमल रंजों अलम का लगता है पुतला,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ,
आ-आ रे चिरईया आ-आ रे चिरईया आ-आ ।

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